संस्कार भारती, दिल्ली प्रांत ने देश की राजधानी में चैत्र शुक्ल प्रतिपदा और विक्रमी नवसंवत्सर 2080 का शुभागमन सामूहिक रूप से सूर्य को अर्घ्य देकर स्वागत किया। दिल्ली के वजीराबाद में यमुना तट पर सूरघाट पर आयोजित ‘भारतीय नववर्ष उत्सव’ में केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण तथा युवा एवं खेल मंत्री अनुराग ठाकुर मुख्य अतिथि थे। उन्होंने कहा कि भारतीय नववर्ष के अवसर पर हम समाज में भारतीय दृष्टि विकसित करने के संकल्प को बल दें। स्वाधीनता के अमृतकाल में भारतवर्ष विश्व का नेतृत्व करे, पुनः विश्वगुरु बने। विगत नौ वर्षों में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदीजी ने देश के सांस्कृतिक पुनरुद्धार का बीड़ा उठाया है, जिसके चलते काशी विश्वनाथ कॉरिडोर, बुद्धा सर्किट, करतारपुर साहब कॉरिडोर, महाकाल लोक और सबसे बढ़कर अयोध्या में श्रीराम के भव्य मंदिर का निर्माण संभव हुआ है। हमें अपनी इसी गौरवशाली संस्कृति पर गर्व करना होगा। कार्यक्रम में मुख्य वक्ता राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के अखिल भारतीय सह-प्रचार प्रमुख नरेंद्र कुमार ठाकुर ने कहा कि एक सौ वर्ष पहले डॉ. हेडगेवार ने हिंदू समाज के स्वाभिमान को जाग्रत करने का संकल्प लिया था, वह आज फलीभूत हो रहा है। हिंदू समाज आज क्षेत्र, भाषा, जाति आदि के बंधनों और अवरोधों से ऊपर उठ कर एक समरस समाज की स्थापना करनी है तभी हम ‘एक भारत, श्रेष्ठ भारत’ के संकल्प को पूरा कर पाएँगे। उन्होंने कहा कि आजादी के 75 वर्ष पूर्ण करके हम अमृत काल में प्रवेश कर गए हैं। अगले 25 वर्षों में हमें ये संकल्प पूरे करने हैं। ‘भारतीय नववर्ष उत्सव’ में समाज के विभिन्न वर्गों से बालक-बालिकाओं, महिलाओं, पुरुषों ने सहभागी होकर भारतीय नववर्ष का स्वागत किया। इसमें विभिन्न विधाओं के साधकों द्वारा संगीत-नृत्य प्रस्तुतियों के साथ सामूहिक रूप से सूर्य को अर्घ्य देकर भारत और विश्व के मंगल और कल्याण की कामना की गई।
देश की विविधता और एकता को उजागर करते हुए भारत की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत को प्रदर्शित करनेवाले इस कार्यक्रम में प्रसिद्ध कलाकारों में अदिति गर्ग (ध्रुपद गायन), पंथोबी जागोई मारुप (मणिपुरी डांस समूह), संदीप शजर (कवि), विकास बाबू (शहनाई वादन) प्रमुख थे। दिल्ली प्रांत के प्रख्यात चित्रकारों द्वारा भारतीय सांस्कृतिक प्रतीकों की लाइव पेंटिंग सहित अवनीश त्यागी समूह द्वारा संगीत प्रस्तुति कार्यक्रम के प्रमुख आकर्षण रहे। संस्कार भारती, दिल्ली प्रांत के कार्यकारी अध्यक्ष प्रभात कुमार ने कहा कि भारतीय नववर्ष हम सबके जीवन में नई आशा और उल्लास लेकर आता है। इसकी शुरुआत रचनात्मकता एवं सकारात्मकता के साथ करने की हमारी पुरातन परंपरा रही है। हमारे लिए यह भी प्रसन्नता का विषय है कि भारत के हमारे सांस्कृतिक वैभव को संपूर्ण विश्व के समक्ष गौरवशाली ढंग से उभारने के प्रयास सफल हो रहे हैं। इस भारतीय सांस्कृतिक पर्व के माध्यम से हम अपनी सनातन परंपराओं से परिचित हों और उनके संरक्षण-संवर्धन में सहभागी बनें, इसी में आयोजन की सफलता है।