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गुलाब की खेती ने किसान को लखपति बनाया

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गुलाब की खेती ने किसान को लखपति बनाया।

गन्ने की जगह गुलाब की खेती से किसानों की किस्मत भी महकने लगी है। जी हां यूपी के मुजफ्फरनगर जिले के छपार गांव से एक मामला सामने आया है.. जहां किसान ने पारंपरिक गन्ने की उपज के साथ सह फसली तकनीक अपनाकर गुलाब की खेती को अपनाया और देखते ही देखते इसे एक नई ऊंचाई तक पहुंचा दिया।

जानकारी के अनुसार, मुजफ्फरनगर के गांव छपार के किसान अमरीश शर्मा ने 6 साल पहले खेती में बदलाव का फैसला लिया और बैंक से 52 लाख रुपये का लोन लेकर छह बीघा जमीन में पॉलीहाउस बनवाया.... उन्होंने पुणे से “टॉप सीक्रेट” समूह के 32 हजार गुलाब के पौधे मंगवाए और अपने भाई, बेटों और ग्रामीण साथियों के साथ मिलकर दिन-रात मेहनत की.... छह महीने की मेहनत के बाद पौधों में फूल लगने शुरू हो गए....और धीरे-धीरे अमरीश शर्मा गुलाब की खेती का काम चल पड़ा और आज उनके गुलाब दिल्ली, हरिद्वार, रुड़की और मुजफ्फरनगर तक बेचे जाते हैं...


वही आम दिनों में गुलाब के 20 फूलों का एक बंडल 150 से 200 रुपये में बिकता है, लेकिन विवाह, शुभ अवसरों एवं मंदिरों के पर्वों उत्सवों पर इसकी कीमत 350 रुपये तक पहुंच जाती है... इसी कड़ी में अमरीश आगे बताते हैं कि उनका यह सफर आसान नहीं था.... कोरोना के समय उन्हें काफी नुकसान हुआ था, क्योंकि उस समय फूल खरीदने वाला कोई नहीं था... लेकिन उन्होंने हार नहीं मानी...  उन्होंने दोबारा पौधे लगाए और फिर से खेती शुरू की....


आज वह सालाना सात लाख रुपये तक की कमाई कर रहे हैं, जो गन्ने की खेती से कहीं ज्यादा है... उन्होंने बैंक का पूरा लोन भी चुका दिया है और अब एक और पॉलीहाउस बनाकर उसमें भी गुलाब उगा रहे हैं....और अपना काम आगे बढ़ा रहे हैं.... किसान अमरीश शर्मा की मेहनत और सोच ने न सिर्फ उनकी जिंदगी बदली, बल्कि गांव के बाकी किसानों को साथ लेकर सामूहिक जीवन उत्थान का एक अनुकरणीय उदाहरण प्रस्तुत किया है।