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भोजशाला परिसर – पुरातत्व विभाग के दल ने सर्वे का कार्य प्रारंभ किया

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धार. न्यायालय के आदेशानुसार 22 मार्च को प्रातः छह बजे पुरातत्व विभाग का दल ने भोजशाला परिसर में पहुंच कर कार्य प्रारंभ कर दिया. सर्वप्रथम स्थापत्य का मापन किया गया. कुल पचास मीटर लंबे क्षेत्र में निरीक्षण होगा, यह तय किया गया.

आधुनिक यंत्रों द्वारा भोजशाला परिसर की लेवलिंग की गई. स्तंभों और दीवारों पर उकेरे गए चिन्हों की पुरातात्विक विज्ञान तकनीक के अनुसार प्रतिलिपि ली गई. स्तंभों व शिल्प की आयु जानने के लिए सुरक्षित स्थान से पाषाण को घिस कर चूर्ण के नमूने सुरक्षित रखे गए. भोजशाला की वीडियोग्राफी और फोटोग्राफी भी प्रारंभ कर दी गई है. सर्वेक्षण का कार्य दोपहर बारह बजे तक निरंतर जारी रहा.

धार भोजशाला परिसर के ASI सर्वे के मध्यप्रदेश उच्च न्यायालय के आदेश के खिलाफ मुस्लिम पक्ष की याचिका पर तुरंत सुनवाई से सर्वोच्च न्यायालय ने मना कर दिया. मौलाना कमालुद्दीन वेलफेयर सोसाइटी ने सर्वोच्च न्यायालय में याचिका दायर कर उच्च न्यायालय के आदेश को चुनौती दी थी. मुस्लिम पक्ष ने उच्च न्यायालय के आदेश पर रोक की मांग की थी.