उत्तराखण्ड
हर वर्ष लाखों श्रद्धालु कठिन रास्तों से गुजरकर उत्तराखण्ड के चारों धामों में दर्शन के लिए पहुंचते हैं। हालांकि हिमालयी क्षेत्रों में कड़ाके की ठंड और बर्फबारी के कारण शीतकाल में यात्रा संभव नहीं होती, इसलिए निश्चित तिथियों पर कपाट बंद कर दिए जाते हैं। इन तिथियों का निर्धारण परंपरागत पंचांग और शुभ मुहूर्त के आधार पर होता है। इस वर्ष भी विजयदशमी के पावन अवसर पर कपाट बंद होने की तिथियां घोषित की गईं।
यमुनोत्री धाम
भैया दूज के शुभ अवसर पर 23 अक्तूबर 2025 को दोपहर 12:30 बजे यमुनोत्री धाम के कपाट शीतकाल के लिए बंद कर दिए जाएंगे। कपाट बंद होने से पहले शनिदेव महाराज की डोली अपनी बहन मां यमुना को लेने यमुनोत्री धाम पहुंचेगी।
गंगोत्री धाम
गंगोत्री धाम के कपाट 22 अक्तूबर 2025 को अन्नकूट पर्व के अवसर पर सुबह 11:36 बजे बंद किए जाएंगे। इसके बाद श्रद्धालु मां गंगा के मुखबा गांव स्थित शीतकालीन मंदिर में दर्शन करेंगे।
बदरीनाथ धाम
चारधाम यात्रा का समापन 25 नवंबर 2025 को बदरीनाथ धाम के कपाट बंद होने के साथ होगा। इस दिन दोपहर 2:56 बजे कपाट शीतकाल के लिए बंद कर दिए जाएंगे। इससे पहले 21 नवंबर से पंच पूजाओं का आयोजन होगा।