- सीसीटीवी और ड्रोन फुटेज से यह पता चला कि भीड़ ने एक साथ हिंसा भड़काई
- प्रशासन ने की शांति रखने की अपील
संभल। संभल में हाल ही में हुई हिंसा एक गंभीर मुद्दा बन गई है, जहां पुलिस ने 100 से अधिक उपद्रवियों की पहचान की है और अब तक 27 लोगों को गिरफ्तार किया है। हिंसा का केंद्र जामा मस्जिद के पास रहा, जहां भीड़ ने तोड़फोड़ और पत्थरबाजी की। पुलिस ने भीड़ का उकसाने वाला एक वीडियो जारी किया है।
घटना का विवरण -
पुलिस की जांच के अनुसार, जामा मस्जिद के पास भीड़ को योजनाबद्ध तरीके से जुटाया गया। हिंसा के दौरान सीसीटीवी और ड्रोन फुटेज से यह पता चला कि भीड़ ने एक साथ इकट्ठा होकर हिंसा भड़काई। भीड़ को उकसाने वाले कुछ वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गए, जिनसे यह स्पष्ट होता है कि कुछ लोग भीड़ को हिंसा के लिए प्रेरित कर रहे थे।
जांच की दिशा -
पुलिस ने हिंसा की योजना बनाने और उसे लागू करने के पीछे की साजिश की जांच शुरू कर दी है।
सोशल मीडिया का उपयोग -
कुछ व्हाट्सएप ग्रुप्स और सोशल मीडिया पोस्ट्स ने हिंसा में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। इन प्लेटफॉर्म्स पर भड़काऊ संदेश और निर्देश दिए गए, जिससे भीड़ को एकत्रित किया गया। पुलिस इन ग्रुप्स की गतिविधियों और इसमें शामिल लोगों की पहचान कर रही है।
1. डिजिटल सबूतों का विश्लेषण :
मोबाइल फोन के डंप डेटा, कॉल रिकॉर्ड और व्हाट्सएप चैट्स की फॉरेंसिक जांच की जा रही है। अब तक 27 मोबाइल फोन्स को जब्त किया गया है। इससे पता लगाया जा रहा है कि हिंसा की योजना पहले से बनाई गई थी या यह तत्काल उकसावे का नतीजा था।
2. सीसीटीवी और वीडियो फुटेज :
घटनास्थल के पास के कैमरों से जुटाई गई फुटेज में उपद्रवियों की पहचान की जा रही है। कुछ संदिग्धों के चेहरे साफ दिखाई दे रहे हैं, जिन्हें पहचानने के बाद नोटिस भेजा जाएगा।
3. उकसाने वाले वीडियो :
हिंसा भड़काने वाले वीडियो में कुछ लोग भीड़ को उकसाते हुए देखे गए हैं। इनमें से कई वीडियो सोशल मीडिया पर साझा किए गए, जिससे हिंसा को बढ़ावा मिला।
गिरफ्तारी और कानूनी कार्रवाई -
अब तक गिरफ्तार किए गए 27 आरोपियों में कुछ नाबालिग भी शामिल हैं। पुलिस का कहना है कि दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई होगी, लेकिन निर्दोष लोगों को परेशान नहीं किया जाएगा। इसके अलावा, जिन लोगों ने पत्थरबाजी में हिस्सा लिया, उनकी पहचान कर उन्हें जेल भेजने की प्रक्रिया चल रही है।
महत्वपूर्ण सवाल -
पुलिस कई एंगल से मामले की जांच कर रही है:
1. हिंसा के लिए भीड़ को किसने इकट्ठा किया?
2. क्या हिंसा की योजना पहले से बनाई गई थी?
3. घटनास्थल के आसपास के इलाकों में मोबाइल डेटा के विश्लेषण से क्या पता चलता है?
4. क्या सोशल मीडिया के जरिए हिंसा के लिए लोगों को उकसाया गया?
सामाजिक प्रभाव -
इस घटना ने शहर में तनावपूर्ण माहौल बना दिया है। स्थानीय प्रशासन ने इलाके में शांति बनाए रखने के लिए पुलिस बल की तैनाती बढ़ा दी है। साथ ही, अफवाहों को रोकने के लिए इंटरनेट सेवाओं पर नजर रखी जा रही है।
निष्कर्ष -
संभल हिंसा एक संगठित साजिश का संकेत देती है, जिसमें सोशल मीडिया का दुरुपयोग और भीड़ को उकसाने वाले तत्व शामिल हैं। पुलिस की जांच जारी है, और दोषियों को जल्द ही न्यायालय में पेश किया जाएगा। प्रशासन ने लोगों से शांति बनाए रखने और अफवाहों पर ध्यान न देने की अपील की है।