आदरणीय सरदार चिरंजीव सिंह जी के देहावसान के साथ राष्ट्र के लिए समर्पित एक प्रेरणादायी जीवन की इहलोक यात्रा पूर्ण हुई है.
आजीवन संघ के निष्ठावान प्रचारक रहे सरदार चिरंजीव सिंह जी ने पंजाब में दशकों तक कार्य किया. तत्पश्चात् राष्ट्रीय सिक्ख संगत के कार्य के द्वारा उन्होंने पंजाब में पैदा हुई कठिन परिस्थिति के कारण उत्पन्न परस्पर भेद और अविश्वास को दूर कर समूचे देश में साँझीवालता और राष्ट्र- भाव के प्रकाश में एकात्मता और सामाजिक समरसता को पुष्ट करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई. उनके अगाध परिश्रम, पंजाब की गुरु-परंपरा के गहन अध्ययन, उत्तम संगठन कौशल्य के कारण असंख्य लोगों को उन्होंने राष्ट्रीयता के प्रवाह में जोड़ दिया. सरदार चिरंजीव सिंह जी के स्नेहिल और मधुर व्यक्तित्व ने सब को जीत लिया था. कुछ समय से अस्वस्थता के कारण सक्रिय नहीं रह पाने पर भी उनके उत्साह में कमी नहीं थी. आदरणीय सरदार जी के निधन पर हम उनके परिजन व परिचितों को अपनी हार्दिक संवेदना व्यक्त करते हैं तथा अकालपुरुष से प्रार्थना करते हैं कि दिवंगत आत्मा दिव्य ज्योति में लीन होवे.
ॐ शांतिः
मोहन भागवत, सरसंघचालक
दत्तात्रेय होसबाले, सरकार्यवाह
राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ